
हिमाचल के लाहौल स्पीति में रामायण को लेकर अलग मान्यता है। यहां सीता को रावण की बेटी माना जाता है। ऐसा किसी पुस्तक में उल्लेख नहीं मिलता, लेकिन लोगों में ऐसी कहानियां प्रचलित हैं। लाहुल के इतिहासकारों की माने तो लाहुली रामायण हालांकि लिखा नहीं गया है। लेकिन इसका कथा वाचन अवश्य होता रहा है। जिसमें सीता को रावण की बेटी बताया गया है। वयोवृद्ध इतिहासकार छेरिंग दोरजे कहते हैं कि लाहुली बोली में कोई रामायण नहीं लिखा गया है। इतिहासकार प्रेम का कहना है लाहुली रामायण हालांकि, लिखा नहीं गया है। लेकिन इसका कथा वाचन अवश्य होता रहा है, जिसमें सीता को रावण की बेटी बताया गया है।यहां दसवीं शताब्दी से स्थापित त्रिलोकीनाथ मंदिर के पुजारी बीर सिंह ठाकुर का कहना है यहां माता सीता को धरती पुत्री कहा जाता है। मान्यता ऐसी भी है कि त्रिलोकीनाथ मंदिर में भगवान बुद्ध की मूर्ति के ऊपर स्थापित मूर्ति को माता सीता का रूप भी माना जाता है, जबकि कुछ लोग इसे भगवान शिव का रूप मानते हैं। इस मंदिर में बौद्ध और हिंदू दोनों धर्म के लोग अपने रीति-रिवाज के हिसाब से पूजा करते हैं।